ग्वालियर डेस्क :
पीएचई में हुए 16 करोड़ रुपए के घोटाले की जांच कर रही क्राइम ब्रांच ने सोमवार को उन खातों को सीज करवाया, जिनमें घोटाले की राशि भेजी गई थी। खाते सीज करने के लिए टीम ने संबंधितों बैंकों को पत्र लिखा था। साथ ही एक टीम ट्रेजरी ऑफिस भी पूछताछ करने पहुंची। राशि खातों में भेजने को लेकर कर्मचारियों से पूछताछ की गई।
एएसपी ऋषिकेश मीणा ने बताया कि ट्रेजरी ऑफिस ने दो दिन में रिकॉर्ड उपलब्ध कराने के लिए कहा है। इसके बाद काफी चीजें स्पष्ट हो जाएंगी। पुलिस जांच में इस घोटाला कांड में मुख्य आरोपी के अलावा और भी एक-दो लोगों के नाम सामने आए हैं। पुलिस संदिग्धों की भूमिका की जांच कर रही है।
दस्तावेज ले गई पीएचई की टीम: पीएचई के संधारण खंड-1 में हुए 16 करोड़ 42 लाख 13 हजार 33 रुपए के फर्जी भुगतान की जांच अभी पूरी नहीं हो सकी है। दूसरी तरफ पिछले पांच दिन में फर्जी भुगतान लेने वाले 16 खातेदारों ने बैंक में 2 करोड़ 63 लाख 31 हजार 853 रुपए जमा करा दिए हैं। वरिष्ठ कोषालय अधिकारी अरविंद शर्मा ने इसकी पुष्टि करते हुए कहा कि सोमवार को एक खाते में 11 लाख 9 हजार 230 रुपए जमा हुए है। मुख्य अभियंता आरएलएस मौर्य ने कहा कि भोपाल से आई पांच सदस्यीय टीम वापस जा चुकी है। टीम अपने साथ सारे दस्तावेज पेन ड्राइव में ले गई है।
घर से लापता हुए दो बच्चे रेलवे स्टेशन पर मिले
थाटीपुर क्षेत्र की अलग-अलग जगहों से लापता हुए 7 और 11 साल के बच्चों को पुलिस ने 18 घंटे के अंदर ढूंढ निकाला। दोनों बच्चे रविवार सुबह 10 बजे लापता हुए थे। सीएसपी विनायक शुक्ला ने बताया कि 7 साल का बालक घर से खेलने की कहकर निकला था और फिर वापस नहीं आया। वहीं 13 साल का बालक भी घर से खेलने की कहकर निकला था।
दो बच्चों के अचानक लापता होने का मामला सामने आते ही पुलिस हरकत में आई और घटनास्थल के आसपास के सीसीटीवी फुटेज खंगाले। फुटेज में दोनों बच्चे रेलवे स्टेशन की ओर जाते दिखाई दिए। सोमवार शाम स्टेशन पर पहुंचकर पुलिस ने तलाशी अभियान चलाया। इस दौरान एक जगह खाना मांगते हुए दोनों मिल गए। दोनों को चाइल्ड लाइन के हवाले कर दिया गया है, जो जल्द ही परिजनों के पास पहुंच जाएंगे।