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मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के विमानन अधिकारीयों को निर्देश: गंभीर मरीजों के लिए एयर एंबुलेंस उपलब्ध कराएगी सरकार, जल्द टेंडर बुलाने की तैयारी

भोपाल डेस्क :

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने प्रदेश में गंभीर मरीजों को जिला अस्पतालों और स्वास्थ्य केंद्रों तक पहुंचाने के लिए 108 सेवा की तर्ज पर एयर एंबुलेंस की सेवा देने का फैसला किया है। मुख्यमंत्री ने इसको लेकर विमानन विभाग को प्रस्ताव तैयार करने और टेंडर बुलाने के निर्देश दिए हैं। इसके बाद विमानन विभाग इसकी तैयारी में जुट गया है। इसे देखते हुए जिलों में हवाई पट्टियों को दुरुस्त रखने का काम भी किया जाएगा।

सीएम डॉ. यादव ने विमानन विभाग के अफसरों से कहा है कि प्रदेश में एयर लिफ्ट करके गंभीर मरीजों को समय पर उपचार दिलाया जा सकता है और उनकी जान बचाई जा सकती है। इसलिए सरकार चाहती है कि प्रदेश में एक एयर एंबुलेंस हर समय तैयार रहे जो गंभीर मरीजों को एक जिले से दूसरे जिले या राज्य में स्वास्थ्य सुविधाओं के साथ पहुंचाने का काम कर सके। इससे लोगों की जान बच सकेगी। सरकार की स्वास्थ्य सेवाओं का लाभ उन लोगों को भी आसानी से मिल सकेगा जो जरूरत होने पर राज्य सरकार की एंबुलेंस का लाभ लेना चाहते हैं।

जल्द बुलाएंगे टेंडर, तय हो रहे नियम व शर्तें

सचिव विमानन विभाग चंद्रमौलि शुक्ला ने बताया कि मुख्यमंत्री की मंशा है कि 108 सेवा की तरह गंभीर मरीजों के लिए एयर एंबुलेंस की सेवा शुरू की जाए। इसलिए विभाग ने इसके लिए काम शुरू कर दिया है। विभाग इसके लिए टेंडर बुलाएगा और इसके बाद नियम व शर्तों को शासन की मंजूरी मिलते ही यह सेवा शुरू की जाएगी।

उधर सूत्रों का कहना है कि सीएम की मंशा के बाद अब जिलों में संचालित हवाई पट्टियों की भी सेहत सुधरने की संभावना है क्योंकि मरीजों को लाने ले जाने के लिए एयर एंबुलेंस हवाई पट्टी सही होने पर ही काम आ सकेगी।

आमतौर पर डेढ़ से ढाई लाख का खर्च

एयर एम्बुलेंस का खर्च विमान के प्रकार, तय दूरी, मरीज की चिकित्सा स्थिति और अन्य आधार पर अलग-अलग होता है। आम तौर पर एयर एम्बुलेंस सेवा की लागत डेढ़ से ढाई लाख रुपए तक होती है। एयर एम्बुलेंस की कीमत में उड़ान की लागत, चिकित्सा कर्मचारी, चिकित्सा उपकरण, चिकित्सा आपूर्ति और अन्य संबंधित खर्च शामिल हो सकते हैं। एयर एम्बुलेंस सेवा की कीमत में पायलट और विमान संचालन की लागत भी शामिल हो सकती है।

भारत में इन कम्पनियों के पास हैं एयर एंबुलेंस

  • आईसीएटीटी एयर एम्बुलेंस- आईसीएटीटी एयर एम्बुलेंस भारत की अग्रणी एयर एम्बुलेंस सेवा प्रोवाइडर है जो गंभीर बीमार या घायल रोगियों के लिए सुविधा देती है। कंपनी की स्थापना डॉ. राहुल सिंह सरदार और डॉ. शालिनी नलवाड ने की है।
  • ह्यूमन केयर वर्ल्ड वाइड- ह्यूमन केयर वर्ल्डवाइड एयर एम्बुलेंस सेवा प्रदाता है जो गंभीर परिस्थितियों में या विशेष चिकित्सा देखभाल की आवश्यकता वाले रोगियों के लिए चिकित्सा परिवहन सेवाएं प्रदान करता है। ये घरेलू और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर रोगियों के सुरक्षित और सकुशल पहुंचाने का काम करते है। ह्यूमन केयर भारत का अग्रणी एयर एम्बुलेंस सेवा प्रदाता है, जिसके पास आधुनिक, चिकित्सकीय रूप से सुसज्जित विमान बेड़े और उच्च प्रशिक्षित चिकित्सा कर्मी हैं।
  • स्काई एयर एम्बुलेंस- भारत में स्काई एयर एम्बुलेंस सेवाएं गंभीर रूप से बीमार और घायलों को अनुकूलित चिकित्सा सुविधाएं प्रदान करती हैं। यह भारत में आपातकालीन चिकित्सा देखभाल की आवश्यकता वाले रोगियों को चिकित्सा निकासी सेवाएं प्रदान करता है।
  • वायु बचाव दल- एयर रेस्क्यूअर्स भारत में स्थित एक एयर एंबुलेंस सर्विस प्रोवाइडर है। 2016 में स्थापित एयर रेस्क्यूअर्स चिकित्सा परिवहन की आवश्यकता वाले रोगियों के लिए एयर एम्बुलेंस सेवाएं, चिकित्सा सहायता सेवाएं और ग्राउंड एम्बुलेंस सेवाएं प्रदान करता है।
  • ईएमएसओएस- भारत में ईएमएसओएस भी एयर एम्बुलेंस सेवा एक आपातकालीन चिकित्सा सेवा प्रदाता है जो गंभीर चिकित्सा देखभाल की आवश्यकता वाले रोगियों को एयर एम्बुलेंस सेवाएं प्रदान करती है।
  • स्टैनप्लस- स्टैनप्लस एक इंडियन एयर एम्बुलेंस सेवा प्रदाता है जो चिकित्सा और स्वास्थ्य देखभाल समाधान प्रदान करता है। स्टैनप्लस मुंबई, दिल्ली, पुणे, कोलकाता, हैदराबाद, चेन्नई, अहमदाबाद, बेंगलुरु और जयपुर सहित भारत भर के कई शहरों में संचालित होता है।

बालाघाट में चुनाव आयोग की व्यवस्था के बाद तैयारी

चुनाव आयोग ने विधानसभा चुनाव के दौरान बालाघाट में नक्सल एरिया में किसी भी तरह की हिंसात्मक गतिविधि को देखते हुए इस बार एयर एंबुंलेंस की व्यवस्था तय की थी। इसमें मतदान अवधि तक एयर एंबुंलेंस को महाराष्ट्र के गोंदिया और फिर जबलपुर में खड़ा किया गया था। इसे देखते हुए मुख्यमंत्री बनने के बाद डॉ. यादव ने विमानन विभाग को इस तरह की त्वरित व्यवस्था रखने के निर्देश दिए ताकि लोगों को आसानी से उपचार दिलाकर जान बचाई जा सके।

 

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