
भोपाल डेस्क :
कांग्रेस के नारी न्याय आंदोलन का दूसरा चरण बुधवार को भोपाल से शुरू हुआ। महिला कांग्रेस की सदस्यों ने भोपाल के रोशनपुरा चौराहे पर धरना-प्रदर्शन किया। इसमें पीसीसी चीफ जीतू पटवारी, पूर्व मंत्री पीसी शर्मा और महिला कांग्रेस की प्रदेश अध्यक्ष विभा पटेल शामिल हुईं। यहां से कार्यकर्ता राजभवन के लिए रवाना हुईं, लेकिन पुलिस ने उन्हें पहले ही रोक लिया। इस पर महिला नेताओं ने नारेबाजी शुरू कर दी।
प्रदर्शन के दौरान गर्मी की वजह से विभा पटेल को चक्कर आ गया। वे नीचे बैठ गईं। साथी कार्यकर्ताओं ने उन्हें संभाला।
आरोप लगाया- मध्यप्रदेश महिला अत्याचार में पहले नंबर पर
सभा को संबोधित करते हुए विभा पटेल ने कहा, ‘महिला अत्याचार में मध्यप्रदेश पहले नंबर पर है। यहां हर दिन रेप की 17 घटनाएं सामने आती हैं। ऐसे में महिलाओं के लिए बने कानून को सख्ती से लागू करने की आवश्यकता है। अपराधियों में खौफ होना चाहिए लेकिन ऐसा नहीं होता। पीड़ित को भटकना पड़ता है।
आर्थिक, सामाजिक और यौन उत्पीड़न, महिला आरक्षण, जातिगत जनगणना, बेलगाम महंगाई, चौपट स्वास्थ्य व्यवस्था जैसे कई मुद्दे हैं। हम यह भी चाहते हैं कि लाड़ली बहनों की लिस्ट से काटे गए नाम वापस जोड़े जाएं।’

आरक्षण मांगा- ये घर चला सकती हैं तो राज्य और देश भी चला सकती हैं
पूर्व मंत्री पीसी शर्मा ने कहा- महिलाओं को विधानसभा में 33 प्रतिशत आरक्षण मिलना चाहिए। ये घर चला सकती हैं तो राज्य और देश भी चला सकती हैं।
पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा बोले कि हमें न्याय के लिए लड़ना है। पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी ने महिलाओं को 33% आरक्षण देने की बात कही थी। अब लोकसभा में महिलाओं को 33% आरक्षण चाहिए। उन्होंने कहा कि आज देश में किसी महिला को न्याय की सबसे ज्यादा जरूरत है, तो जसोदाबेन को है।
29 जुलाई से शुरू हुआ था आंदोलन का पहला चरण
दरअसल, आजादी के दौरान चलाए गए अगस्त क्रांति आंदोलन की तर्ज पर कांग्रेस अगस्त महीने में लगातार आंदोलन और प्रदर्शन कर रही है। इसके तहत नारी न्याय आंदोलन का पहला चरण 29 जुलाई 2024 को दिल्ली के जंतर-मंतर से शुरू किया गया था।



