विदिशा
“यार मेरे मरने से पहले ऐसी चिलम बना देना’ पीके सीधा स्वर्ग में पहुंचू ऐसी दम लगवा देना” पागल बाबा

आनंदपुर डेस्क :
“यार मेरे मरने से पहले ऐसी चिलम बना देना’ पीके सीधा स्वर्ग में पहुंचू ऐसी दम लगवा देना” पागल बाबा के इसी भजन पर आनंदपुर के दर्शन अपने आप को घूमने से नहीं रोक सके। मौका भी था और दस्तूर भी विमान उतरने की खुशी में बाबा पागल बाबा की भजन संध्या का आयोजन आनंदपुर में पाराशर परिवार ( महेश और भगवान लाल परासर) ने कराया था जहां पागल बाबा ने इसी भजन से भजन संध्या की शुरुआत की। साथ ही उन्होंने काली कमली वाला मेरा यार है मेरे मन का मोहन तू दिलदार है जैसे प्रसिद्ध भजन भी दर्शकों को सुनाएं। दीपेश महाराज सिद्धि गंज वालों ने भजन संध्या में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई इनका साथ देने के लिए संतोष महाराज कालूराम राव और अनुज पाराशर की जुगलबंदी ने खूब रंग जमाया।
पागल बाबा के नाम से प्रसिद्ध भजन गायक पागल बाबा ने आनंदपुर में विमान उतरने की खुशी में भजन संध्या में “यार मेरे मरने से पहले ऐसी चिलम बना देना’ पीके सीधा स्वर्ग में पहुंचू ऐसी दम लगवा देना” भजन गाकर पूरे माहौल को भक्ति में भाव बिहोर कर दिया। साथ ही चुटकुलों ने पागल बाबा ने चिलम के अनेक फायदे भी बताईं उन्होंने कहा की चिलम पीने से चिलम पीने के अनेकों फायदे हैं इनमें प्रमुख रूप से जो व्यक्ति भगवान की भक्ति में चिलम पीता है वह देर रात तक तो जागता ही है साथ ही रात्रि में दो-तीन बजे भी जाग जाता है ऐसे में पड़ोस मोहल्ले में चोरी होने की घटनाएं नहीं हो पाती, चोर सोचते हैं की अभी बाबा जी जाग रहे हैं उन्होंने हंसी हंसी में कहा कि जब चिलम पीने वाला व्यक्ति मृत्यु को प्राप्त हो जाता है तो उसके शरीर में भी वजन नहीं बचता

जिससे अर्थी उठाने वालों को आसानी होती है। और वजन नहीं लगता।