आनंदपुर में मरने के बाद भी सुकून से अंतिम विदाई भी नहीं कर सकते: अतिक्रमणकारियों के हौसले बुलंद श्मशान घाट की भूमि पर कब्जा
एक बार अतिक्रमण हटाने के बाद दोबारा किया कब्जा
आनंदपुर डेस्क :
मरने के बाद भी सुकून से पार्थिव शरीर की विदाई आनंदपुर में नहीं हो पाती जिसका जीता जागता उदाहरण रविवार की सुबह देखने को मिला।
जी हां कहने को तो आनंदपुर 6000 से अधिक की बस्ती है लेकिन यहां पार्थिव शरीर को भी मुक्त अग्नि देने के लिए परेशान होना पड़ता है बात आनंदपुर के आरोन रोड वाले शमशान घाट की है इसके चारों ओर भीषण गंदगी और पानी जमा है साथ ही यहां पर अतिक्रमणकारियों ने तार फेंसिंग कर अपना कब्जा जमा लिया है ग्राम में जब किसी व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है तो इसी शमशान घाट पर अंतिम संस्कार करने के लिए पहुंचते हैं लेकिन श्मशान घाट तक पहुंचने के लिए ना तो रास्ता है और ना ही पर्याप्त जगह बची।
रविवार के दिन इंदिरा कॉलोनी में एक 60 वर्षीय महिला की मृत्यु हुई जिसके पार्थिव शरीर को मुक्तअग्नि देने के लिए श्मशान घाट ले जाया गया वहां पर भारी गंदगी और कीचड़ के बीच पार्थिव शरीर को मुक्तिधाम तक बड़ी मशक्कत के बाद पहुंचाया गया।
newsupdate24x7 ने 1 सितंबर 2022 को मुक्तिधाम पर अतिक्रमण को लेकर प्रमुखता से खबर प्रकाशित की थी खबर का असर भी हुआ और अगले ही दिन प्रशासन में अतिक्रमण भी हटवा दिया लेकिन अतिक्रमणकारियों के हौसले इतने बुलंद है कि उन्होंने 8 दिन बाद ही दोबारा अतिक्रमण कर तार फेंसिंग कर ली।
वर्ष 2013-14 में बनवाया था एक मुक्तिधाम
तात्कालिक सरपंच मुकेश सोनी ने आनंदपुर में परवरिया रोड पर एक मुक्तिधाम का निर्माण कराया था इसके बाद 7 वर्ष तक दूसरा व्यक्ति ग्राम का सरपंच रहा और ग्रामीण जनों ने सैकड़ों बार लिखित/ मौके में शिकायतें की की आनंदपुर 6000 से अधिक की बस्ती है यहां दो मुक्ति धाम की और आवश्यकता है लेकिन सरपंच ने अतिक्रमणकारियों की मिली भगत से शमशान घाट की भूमि पर कब्ज तो करवा दिया लेकिन श्मशान घाट नहीं बनवाया।
सैकड़ो वर्षों से शमशान घाट की है भूमि
आनंदपुर में तीन जगह आरोन रोड, कोलापुर रोड और परवरिया रोड पर सेकडो वर्षों से पार्थिव शरीरों को अंतिम संस्कार यहीं पर किया जाता है लेकिन अतिक्रमणकारियों ने कोलापुर रोड पर तो लगभग डेढ़ से दो बीघा जमीन पर कब्जा जमा लिया। इसी तरह दो बीघा जगह आरोन रोड पर थी उस पर भी अतिक्रमणकारियों ने कब्जा जमा लिया सिर्फ परवरिया रोड पर ही एकमात्र मुक्तिधाम बन सका है जिसके चलते ग्रामीण जनों को भारी समस्याओं का सामना करना पड़ता है खासकर बरसात के मौसम में डेढ़ वर्ष पहले पंचायत चुनाव हुए थे तब आनंदपुर में वर्तमान सरपंच हरि बल्लभ शर्मा के लड़के राधावल्लभ शर्मा ने बोला था कि मैं सरपंच बनने के बाद सबसे पहले मुक्तिधाम का निर्माण कार्य कराऊंगा लेकिन अभी तक लिखित में देने के बाद भी किसी प्रकार का कार्य नहीं कराया गया
इस संबंध में सरपंच पुत्र राधावल्लभ शर्मा ने बताया कि अतिक्रमण न हटने के कारण ग्राम पंचायत निर्माण कार्य नहीं कर पा रही है मुक्तिधाम स्वीकृत हो चुका है तहसील में आवेदन भी लगा दिए गए हैं लेकिन अभी तक प्रशासन अतिक्रमण नहीं हटवा पाया जैसे ही अतिक्रमण हट जाएगा तुरंत मुक्ति धाम का कार्य निर्माण कार्य चालू करवा दिया