मध्यप्रदेश

मोहन कैबिनेट का फैसला, प्रदेश में होंगी एक लाख सरकारी नौकरियां: रेप पीड़िताओं के बच्चों के लिए 10 लाख का फंड; कांग्रेस बोली-ये कैसी सरकार

एमपी में एक लाख पदों पर सरकारी भर्तियों होंगी। इसकी प्रक्रिया दिसंबर 2024 तक शुरू कर दी जाएगी। यह निर्णय मंगलवार को सीएम डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में लिया गया। बैठक में यह भी फैसला हुआ कि सरकारी कर्मचारियों को इस माह 28 तारीख को वेतन दिया जाएगा।

वहीं नाबालिग रेप पीड़िताओं के गर्भवती होने की स्थिति में उसके और उनके बच्चे को सहायता देने के लिए हर जिले के कलेक्टर काे 10 लाख रुपए का फंड दिया जाएगा। केंद्र सरकार के फैसले के आधार पर राज्य सरकार ने ये व्यवस्था की है।

इसके लिए ये प्रावधान होंगे..

  • डेडिकेटेड चाइल्ड केयर यूनिट की स्थापना
  • मानसिक आघात से उबरने के लिए काउंसलिंग
  • बच्चियों की पढ़ाई न छूटे, इसका ध्यान रखा जाएगा
  • अगर कोई पीड़िता व्यावसायिक प्रशिक्षण लेना चाहे, तो 23 साल की उम्र तक या रोजगार मिलने तक हर महीने 4000 रुपए की आर्थिक मदद दी जाएगी

नाबालिग रेप पीड़िताओं के लिए फंड देने के मामले में कांग्रेस ने किया पलटवार

जीतू बोले- रेप कैसे रुकेंगे, इस पर सरकार बात नहीं करती प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने कहा- मुझे पता चला कि सरकार हाईकोर्ट, सुप्रीम कोर्ट के निर्णय के बाद निर्णय ले रही है। ऐसा पता चला है कि जिन बेटियों का बलात्कार होता और उनका बच्चा पैदा होगा, उसकी रक्षा करेंगे। यह कैसी सरकार है? बलात्कार रुकेंगे कैसे, सरकार इसकी बात नहीं कर रही है।

सरकार के पास न पुलिस है, न आधुनिक संसाधन: जीतू जीतू ने कहा, मोहन सरकार और भारतीय जनता पार्टी की यह सरकार बेटियों की रक्षा सुरक्षा कैसे हो, इसकी बात नहीं करती। न उनके पास इक्विपमेंट हैं न आधुनिक संसाधन हैं न पुलिस है, न महिलाओं की पुलिस की भर्ती हो रही है, जितने पुलिस बल की जरूरत है उससे 50% ही पुलिसकर्मी हैं। महिला पुलिसकर्मी, एसआई, इंस्पेक्टर्स में भी यही स्थिति है।

पीएससी और कर्मचारी चयन मंडल कराएगा भर्ती परीक्षाएं

स्वास्थ्य विभाग के 7900 पद भरे जाएंगे कैबिनेट के फैसलों की जानकारी देते हुए डिप्टी सीएम और लोक स्वास्थ्य व चिकित्सा शिक्षा मंत्री राजेंद्र शुक्ल ने कहा, एक लाख पदों को भरने के फैसले में स्वास्थ्य विभाग के 7900 पद शामिल हैं। भर्तियां पीएससी और कर्मचारी चयन मंडल के माध्यम से की जाएंगी। शुक्ला ने बताया कि कैबिनेट में मुख्यमंत्री यादव के उज्जैन सिंहस्थ 2028 को लेकर किए गए फैसले का समर्थन किया गया है।

12670 आंगनवाड़ी को मंजूरी, नए पद भी डिप्टी सीएम शुक्ल ने बताया कि प्रदेश की 12670 मिनी आंगनवाड़ी को पूर्ण आंगनवाड़ी बनाया जाएगा। इन आंगनवाड़ी केंद्रों के लिए 12670 सहायक और 476 सुपरवाइजर के पद स्वीकृत किए गए हैं। इस पर 213 करोड़ का वार्षिक खर्च आएगा। इसमें 179 करोड़ राज्य सरकार देगी और 34 करोड़ केंद्र सरकार देगी।

रिलायंस, हिंडाल्को, पतंजलि के आएंगे निवेश डिप्टी सीएम शुक्ल ने कहा कि रीवा में कल रीजनल इंडस्ट्री कॉन्क्लेव होने जा रहा है। रीवा में सीमेंट, पावर, सोलर एनर्जी और पर्यटन क्षेत्र में वृहद संभावनाएं हैं। रीवा एयरपोर्ट के परिचालन को लेकर भी कैबिनेट में चर्चा हुई। यहां से चलने वाले विमान का प्रति यात्री किराया रेलवे के एसी थ्री-टीयर के किराए से कम है। कॉन्क्लेव के लिए 4 हजार रजिस्ट्रेशन हो चुके हैं। रिलायंस, हिंडाल्को, पतंजलि, डालमिया ग्रुप समेत सीमेंट ग्रुप के अन्य बड़े उद्योगपति आ रहे हैं।

नवंबर से तेज होगा पुनर्गठन आयोग का काम मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा, मार्च 2024 में प्रदेश की प्रशासनिक इकाइयों के पुनर्गठन का प्रस्ताव किया गया था। इस क्रम में प्रदेश के संभाग, उप संभाग, जिले, तहसील, विकासखंडों के पुनर्गठन की प्रक्रिया आरंभ की जा रही है। इसके लिए आम जन व जनप्रतिनिधि अपने सुझाव, आवेदन और अभ्यावेदन के रूप में पुनर्गठन आयोग को प्रस्तुत कर सकेंगे।

पुनर्गठन आयोग द्वारा आवेदनों पर विचार के बाद राज्य शासन को अनुशंसा की जाएगी। नगरीय क्षेत्र की सीमाओं के प्रस्ताव भी आयोग को आवेदन तथा अभ्यावेदन के माध्यम से दिए जा सकेंगे। आयोग नवंबर माह से विभिन्न संभाग में दौरा प्रारंभ करेगा। आवेदन अभ्यावेदन के लिए 4 से 6 माह तक का समय रहेगा।

News Update 24x7

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!