विभाग का दावा 83 हजार से अधिक को बच्चों मूंग बांटा , राज्य शिक्षा केंद्र के जिला परियोजना समन्वयक ने कहा ऑनलाइन वाले भी 20% विद्यार्थियों को मूंग नहीं मिली

इंदौर डेस्क :

मध्यप्रदेश के सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले कक्षा 1 से आठवीं तक के विद्यार्थियों को अब उचित मूल्य राशन दुकान के बजाय स्कूलों से ही मूंग दी जाएगी। मीडिया में मुद्दा उठाए जाने के बाद स्कूल शिक्षा मंत्री इंदरसिंह परमार ने इस संबंध में प्रक्रिया में बदलाव का भरोसा दिलाया है। इधर, मूंग वितरण को लेकर खाद्य एवं शिक्षा विभाग के दावों में बड़ा विरोधाभास भी सामने आया है।

पूरे प्रदेशभर में 8वीं तक के 65 लाख में से 50% विद्यार्थियों तक मूंग नहीं पहुंचने के मामले में मंत्री परमार का कहना है कि इस संबंध में लगातार शिकायतें मिल रही थीं। शिक्षाधिकारियों ने भी परेशानियों से अवगत कराया था। अब जो बच्चा जिस स्कूल में पढ़ रहा है, उसे वहीं मूंग उपलब्ध कराएंगे। परमार ने माना राशन दुकान से मूंग बांटने का प्रयोग सफल नहीं रहा, इसलिए अन्य सामग्रियों की तरह मूंग भी स्कूल से वितरित कराएंगे। दूसरी ओर विद्यार्थियों की संख्या को लेकर खाद्य विभाग अभी भी स्पष्ट नहीं है।

विभाग का दावा 83 हजार से अधिक को मूंग बांट चुके

जिला आपूर्ति नियंत्रक अधिकारी ने दावा किया कि इंदौर जिले को मिले 1128 मीटरिक टन मूंग में से 891 टन बांटा जा चुका है। 99 हजार 840 में 83 हजार से अधिक छात्र छात्राओं को मूंग बांट भी दिए हैं। अधिकारी का कहना है कि उन्हें शासन से मिली सूची के अनुसार उन्हीं विद्यार्थियों को मूंग देने के निर्देश हैं, जिनकी सूची ऑनलाइन उपलब्ध है।

उधर, राज्य शिक्षा केंद्र के जिला परियोजना समन्वयक का कहना है कि जिले में 40% विद्यार्थियों के नाम ऑनलाइन नहीं हैं। खाद्य विभाग इनकी मैपिंग कैसे और कब करेगा? फिलहाल ऑनलाइन वाले भी 20% विद्यार्थियों को मूंग नहीं मिले हैं। राठौर ने खाद्य विभाग के इस दावे को भी सिरे से खारिज कर दिया कि जिले में विद्यार्थियों की संख्या 99 हजार है। पोर्टल पर ही 106716 विद्यार्थी दर्ज हैं।

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